Thursday, 21 February 2013

shivam shukla lakhna etawah

झुकी हुई नज़रों से इज़हार कर गया कोई,
हमें खुद से बे-खबर कर गया कोई,
युँ तो होंठों से कहा कुछ भी नहीं..
आँखों से लफ्ज़ बयां कर गया कोई.. ..

 शिवम् शुक्ला 



जिन पर किरपा राम करे, वो पत्थर भी तिर जाते हैं ..
घट-घट बस के आप ही अपना, नाम रटा देते हैं ..
हर कारज में निज भक्तों का, हाथ बँटा देते हैं ..
बाधाओं के सा...रे पत्थर, राम हटा देते हैं ..
अपने ऊपर लेकर उनका, भार घटा देते हैं ..
पत्थर क्या प्रभु तीन लोक का, सारा भार उठाते हैं ..
जिन पर किरपा राम करे, वो पत्थर भी तिर जाते हैं . 


 शिवम् शुक्ला 

 

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